Most likely shayari
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वो रात दर्द और सितम की रात होगी,
जिस रात रुखसत उनकी बारात होगी,
उठ जाता हु मैं ये सोचकर नींद से अक्सर,
के एक गैर की बाहों में मेरी सारी कायनात होगी…..
°" इज़हारे मोहब्बत की खुशबू
जज्बातों से महसूस करो..!!"°
°" ..लफ्जो का क्या है लबो से छूटते
*_हवाओं में बिखर जाते हैं..!!"
दिल में है जो दर्द वो दर्द किसे बताएं,
हंसते हुए ये ज़ख्म किसे दिखाएँ,
कहती है ये दुनिया हमे खुश नसीब,
मगर इस नसीब की दास्ताँ किसे बताएं…!!
धीरे से लबों पे
पिघला है यह सवाल.......
तू ज़्यादा ख़ूबसूरत है
या तेरा ख़्याल.......!!!
तू समझता है अगर फज़ूल मुझे,
तो कर के हिम्मत भूल मुझे।
कुछ वक्त खामोश होकर भी देख लिया हमने,
फिर मालूम हुआ कि लोग सच मे भूल जाते हैं।
तुम्हारी नज़रों में हमने देखा अजब सी चाहत झलक रही है.
हमारी साँसों को छू के देखो तुमारी खुशबु महक रही है.
सुनो..
सुलगते सासो की गर्मी 💓महसूस करो..!!
हमारी चाहत हो तुम हमसे मोहब्बत खुब करो....!!!!
रोते होए आँखों और अल्फाजो के दर्द सब पढ़ लेते हैं,
कभी कोई उनका भी दर्द पढ़ो जो कभी जाहिर नही होने देते हैं!
क्या अजीब सबूत माँगा उसने मेरी मोहब्बत का.....!!
कि मुझे भूल जाओ तो मानूं कि तुम्हे मुझसे मोहब्बत है.......!!
##
सुनो
एक ख़ता हो गई है
हमने तुमको
तुमसे चुराया है
तुम्हारी इजाजत के बगैर......💕
कह रहा है शोर-ए-दरिया से समुंदर का सुकूत.....
जिस का जितना ज़र्फ़ है उतना ही वो ख़ामोश है...!!!
हसरतें कुछ और, वक्त की इल्तजा कुछ और,
कौन जी सका है, अपने मुताबिक ज़िन्दगी...!
आखो से पढी जाती है
हया की कहानी ||
चेहरे पर नकाब डाल के
कोई पारसा नही होता ||
जुल्म के सारे हुनर
हम पर यूँ आजमाये गये,
जुल्म भी सहा हमने_
और जालिम भी कहलाये गये...
इक राज़ बताया हमें आँखों के नीर ने
पीरों को पीर कर दिया दुनिया की पीर ने
चिडियों को चुगते देख रहा था कि अचानक
हँस कर कटोरा फेंक दिया इक फकीर ने
ज़िन्दगी की असल खूबसूरती ये नही कि आप कितना खुश है।
बल्कि ज़िन्दगी की असल खूबसूरती ये है कि दुसरे आपसे कितने खुश है।।
*पढ़ लेना दिल का दर्द कहीं अल्फाज़ बदल लेते है हम...*
*आंखों में नमी आ जाए तो आवाज़ बदल लेते हम...!!*
उसे पाने की ख्वाहिश तो बहुत थी दिल में मगर,
मुझे उससे दूर करने की दुआएं करने वाले भी कम ना थे
उदास हूं लेकिन
तुझसे नाराज नहीं ...
अफसोस ये है की तेरे दिल में हूं
लेकिन तेरे साथ नहीं...
दो ही गवाह थी मेरी मोहब्बत के,
*वक़्त और वो*
एक गुजर गया, दूसरा मुकर गया।
कुछ लोगों को लगता है मुझे उनकी चलाकियांन समझ नही आती,
में बड़ी खामोशी से देखता हूं उनको अपनी नजरो से गिरते हुए।
फ्रेंड्स, अगर यह tutorial आपके दिल को छू जाए, तो इसे अपने फ्रेंड्स के साथ शेयर जरूर करें, लाइक और कमेंट और subscribe
गुड बॉय, टेक केयर!
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उठ जाता हु मैं ये सोचकर नींद से अक्सर,
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जज्बातों से महसूस करो..!!"°
°" ..लफ्जो का क्या है लबो से छूटते
*_हवाओं में बिखर जाते हैं..!!"
दिल में है जो दर्द वो दर्द किसे बताएं,
हंसते हुए ये ज़ख्म किसे दिखाएँ,
कहती है ये दुनिया हमे खुश नसीब,
मगर इस नसीब की दास्ताँ किसे बताएं…!!
धीरे से लबों पे
पिघला है यह सवाल.......
तू ज़्यादा ख़ूबसूरत है
या तेरा ख़्याल.......!!!
तू समझता है अगर फज़ूल मुझे,
तो कर के हिम्मत भूल मुझे।
कुछ वक्त खामोश होकर भी देख लिया हमने,
फिर मालूम हुआ कि लोग सच मे भूल जाते हैं।
तुम्हारी नज़रों में हमने देखा अजब सी चाहत झलक रही है.
हमारी साँसों को छू के देखो तुमारी खुशबु महक रही है.
सुनो..
सुलगते सासो की गर्मी 💓महसूस करो..!!
हमारी चाहत हो तुम हमसे मोहब्बत खुब करो....!!!!
रोते होए आँखों और अल्फाजो के दर्द सब पढ़ लेते हैं,
कभी कोई उनका भी दर्द पढ़ो जो कभी जाहिर नही होने देते हैं!
क्या अजीब सबूत माँगा उसने मेरी मोहब्बत का.....!!
कि मुझे भूल जाओ तो मानूं कि तुम्हे मुझसे मोहब्बत है.......!!
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एक ख़ता हो गई है
हमने तुमको
तुमसे चुराया है
तुम्हारी इजाजत के बगैर......💕
कह रहा है शोर-ए-दरिया से समुंदर का सुकूत.....
जिस का जितना ज़र्फ़ है उतना ही वो ख़ामोश है...!!!
हसरतें कुछ और, वक्त की इल्तजा कुछ और,
कौन जी सका है, अपने मुताबिक ज़िन्दगी...!
आखो से पढी जाती है
हया की कहानी ||
चेहरे पर नकाब डाल के
कोई पारसा नही होता ||
जुल्म के सारे हुनर
हम पर यूँ आजमाये गये,
जुल्म भी सहा हमने_
और जालिम भी कहलाये गये...
इक राज़ बताया हमें आँखों के नीर ने
पीरों को पीर कर दिया दुनिया की पीर ने
चिडियों को चुगते देख रहा था कि अचानक
हँस कर कटोरा फेंक दिया इक फकीर ने
ज़िन्दगी की असल खूबसूरती ये नही कि आप कितना खुश है।
बल्कि ज़िन्दगी की असल खूबसूरती ये है कि दुसरे आपसे कितने खुश है।।
*पढ़ लेना दिल का दर्द कहीं अल्फाज़ बदल लेते है हम...*
*आंखों में नमी आ जाए तो आवाज़ बदल लेते हम...!!*
उसे पाने की ख्वाहिश तो बहुत थी दिल में मगर,
मुझे उससे दूर करने की दुआएं करने वाले भी कम ना थे
उदास हूं लेकिन
तुझसे नाराज नहीं ...
अफसोस ये है की तेरे दिल में हूं
लेकिन तेरे साथ नहीं...
दो ही गवाह थी मेरी मोहब्बत के,
*वक़्त और वो*
एक गुजर गया, दूसरा मुकर गया।
कुछ लोगों को लगता है मुझे उनकी चलाकियांन समझ नही आती,
में बड़ी खामोशी से देखता हूं उनको अपनी नजरो से गिरते हुए।
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गुड बॉय, टेक केयर!
Most likely shayari
Reviewed by Pradeep kumar
on
January 14, 2019
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